Digital Arrest Scam: डिजिटल अरेस्ट स्कैम पर सुप्रीम कोर्ट की सख्ती: ₹3,000 करोड़ का फ्रॉड रोकने के लिए अब ‘चक्षु’ बनेगा ढाल
रिपोर्ट – हेमंत कुमार
भारत में तेजी से फैल रहे डिजिटल अरेस्ट स्कैम पर अब सुप्रीम कोर्ट ने गहरी चिंता जताई है। इस साइबर फ्रॉड ने देशभर में अब तक करीब ₹3,000 करोड़ की भारी चपत लगाई है। ठग पुलिस, CBI, ED या TRAI अधिकारी बनकर व्हाट्सएप कॉल, फर्जी समन और AI-generated आवाज़ों के ज़रिए लोगों से पैसों की उगाही कर रहे हैं। इन स्कैमर्स की सबसे बड़ी ताकत है—डर फैलाना और भरोसे का दुरुपयोग करना।
पीड़ितों में अधिकतर शिक्षित प्रोफेशनल्स, एनआरआई और वरिष्ठ नागरिक शामिल हैं। ठग पहले डराने वाले कॉल करते हैं, फिर वीडियो कॉल पर वर्दीधारी फर्जी अधिकारी दिखाते हैं और गिरफ्तारी या अकाउंट सीज़ करने की धमकी देकर रकम ट्रांसफर करा लेते हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने इस मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए कहा कि इस तरह के AI-आधारित डिजिटल धोखाधड़ी पर तुरंत नियंत्रण की आवश्यकता है। अदालत ने केंद्र सरकार, दूरसंचार विभाग और साइबर एजेंसियों को मिलकर संवेदनशील नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। कोर्ट ने कहा कि “चेतावनी देना काफी नहीं है, अब कार्रवाई की ज़रूरत है।”
भारत में ‘डिजिटल अरेस्ट’ जैसी कोई कानूनी प्रक्रिया नहीं है
यह ध्यान देने योग्य है कि देश में “डिजिटल अरेस्ट” नाम का कोई भी कानूनी प्रावधान नहीं है। फिर भी ठग इस झूठे नाम का इस्तेमाल कर लोगों को भ्रमित करते हैं। वे दावा करते हैं कि पीड़ित के खिलाफ कोई गंभीर मामला है और तुरंत जुर्माना या ज़मानत राशि जमा करानी होगी।
अब समाधान: ‘चक्षु पोर्टल’ बनेगा जनता का सुरक्षा कवच
भारत सरकार के संचार साथी पहल के अंतर्गत लॉन्च किया गया चक्षु पोर्टल अब ऐसे मामलों की रिपोर्टिंग के लिए सबसे प्रभावी प्लेटफॉर्म बनकर उभरा है। यह पोर्टल उपयोगकर्ताओं को पिछले 30 दिनों में प्राप्त किसी भी संदिग्ध कॉल, SMS या WhatsApp संदेश को रिपोर्ट करने की सुविधा देता है।
चक्षु पर क्या रिपोर्ट करें?
- बैंक, वॉलेट या गैस-बिजली कंपनी के नाम पर फर्जी कॉल या SMS
- CBI, ED, TRAI या पुलिस अधिकारी बनकर धमकाने वाले संदेश
- गिरफ्तारी, सेक्सटॉर्शन या ब्लैकमेल की कोशिशें
- KYC अपडेट या अकाउंट ब्लॉक होने का दावा करने वाले स्कैम
रिपोर्ट क्यों करें?
- हर रिपोर्ट से स्कैम नंबर और खातों को ब्लॉक करने में मदद मिलती है
- यह भारत का राष्ट्रीय फ्रॉड इंटेलिजेंस डेटाबेस मजबूत करता है
- अगर आर्थिक नुकसान हुआ है, तो पीड़ित सीधे https://www.cybercrime.gov.in पर रिपोर्ट करें या हेल्पलाइन 1930 पर कॉल करें
आपकी सतर्कता ही सबसे बड़ी सुरक्षा है
अब समय है कि हम केवल चेतावनी नहीं, कार्रवाई करें। हर फर्जी कॉल, SMS या मैसेज की रिपोर्ट करें और दूसरों को भी जागरूक बनाएं। केवल तकनीक नहीं, सतर्कता भी भारत की साइबर सुरक्षा को मजबूत बनाएगी।
आइए एक संकल्प लें—
“हम डरेंगे नहीं, रिपोर्ट करेंगे।”
हर नागरिक की जागरूकता ही इस डिजिटल खतरे का अंत कर सकती है।


