नई दिल्ली : राजस्थान की पिंक सिटी जयपुर में हुए टैंकर ब्लास्ट (Jaipur Tanker Blast) में मरनेवाले लोगों की संख्या 14 हो गई है, जबकि दर्जनों लोग घायल हैं, जिनका गंभीर हालत में उपचार जारी है। दरअसल ये हादसा तब हुआ, जब रासायनिक पदार्थ से भरा ट्रक एक एलपीजी टैंकर से टकरा गया, जिससे भीषण आग लग गई। विस्फोट के बाद लगी आग में 40 से ज्यादा गाड़ियां जलकर खाक हो गईं, जिसमें एक स्लीपर बस भी शामिल है। हाईवे किनारे स्थित एक पाइप फैक्ट्री भी आग की चपेट में आ गई। विस्फोट इतना जबरदस्त था कि आसपास के इलाकों में सड़कों पर खून और फटे हुए कपड़े नजर आए।
Jaipur Tanker Blast : सरकार की लापरवाही ने छीनी कई जिंदगियां !
जयपुर से करीब 10 km पहले यू टर्न ले रहे एलपीजी टैंकर को केमिकल से भरे ट्रक ने टक्कर मारा। एलपीजी टैंकर के पीछे नोज़ल से गैस निकलना शुरू हुई और 10 सेकेंड में पेट्रोल की गाड़ियां आग का गोला बन गई। जहां पर ये एक्सीडेंट हुआ है वहां अजमेर की दिशा से आ रहा और जयपुर की तरफ जा रहा टैंकर यू टर्न लेकर वापस अजमेर की तरफ मुड़ रहा था, क्योंकि इस एलपीजी टैंकर को थोड़ी दूर पर रिंग रोड पर चढ़कर आगरा रोड की तरफ जाना था।
नेशनल हाइवे -8 यानी दिल्ली अजमेर हाइवे (Delhi-Ajmer National Highway 8) पर यू टर्न लेने की मजबूरी सरकारों की लापरवाही का नतीजा है। वसुंधरा सरकार (Vasundhara Government) में 2016 में रिंग रोड बनी और उद्घाटन 2018 के आखिरी में हुआ था। काम अधूरा था इसलिए मार्च 2019 में गहलोत सरकार (Gehlot Government) के आने के बाद यातायात शुरू हुआ, लेकिन गहलोत सरकार ने भी इस पर ऊपर चढ़ने के लिए क्लोअर लीफ़ नहीं बनाए, जिससे अजमेर की तरफ से आ रहा ट्रैफिक घूमकर दूसरे साईड के उपर से निकल कर रिंग पर चढ़े।
सरकार बदलने के बाद भी नहीं बदली व्यवस्था
तब से रिंग रोड के क्लोअर लीफ के लिए केवल पिलर ही खड़े हैं। अब सरकार भी बदल गई है, राजस्थान में भजनलाल सरकार (Bhajanlal Government) है, लेकिन अभी भी काम पूरा नहीं हुआ है। जिसे भी आगरा-कोटा जाना होता है वह रिंग रोड पर चढ़ने के लिए यहां से यू टर्न लेता है, जिससे आए दिन हादसे होते हैं। लेकिन शुक्रवार को बड़ा हादसा हो गया। अब इस बीच मुंबई दिल्ली एक्सप्रेस वे भी बन गया है। हादसे वाले नेशनल हाइवे-8 को यही रिंग रोड मुंबई दिल्ली एक्सप्रेस वे जोड़ता है। अचानक से इस यू टर्न पर ट्रैफिक बढ़ा तो आठ साल बाद पिछले महीने फिर से क्लोवर लीफ़ पर काम शुरू हुआ, मगर तब तक हादसा हो गया।


