NDMC: NDMCयमुना जलस्तर बढ़ने पर NDMC ने उठाए बड़े कदम, राजधानी में आपात तैयारियां
रिपोर्ट: हेमंत कुमार
नई दिल्ली नगरपालिका परिषद (NDMC) ने राजधानी दिल्ली में यमुना नदी के लगातार बढ़ते जलस्तर और भारी वर्षा के मद्देनजर आपात तैयारियों को पूरी तरह सक्रिय कर दिया है। NDMC के उपाध्यक्ष कुलजीत सिंह चहल ने बताया कि परिषद ने नागरिक सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए नालों की डी-सिल्टिंग, जल निकासी के बैकअप पंपिंग सिस्टम और 24×7 नियंत्रण कक्ष जैसी सभी जरूरी व्यवस्थाओं को लागू किया है।
श्री चहल ने प्रेस वार्ता में बताया कि यमुना नदी का जल स्तर लगातार बढ़ रहा है और ORB पर 206.03 मीटर दर्ज किया गया है। साथ ही, हथिनी कुंड, वज़ीराबाद और ओखला बैराजों से लाखों क्यूसेक पानी डिस्चार्ज किया जा रहा है। NDMC ने जलभराव रोकने के लिए पुराने किला रोड पर पांच लाख लीटर क्षमता का आधुनिक सम्प बनाया है, जिसमें उच्च क्षमता वाले चार पंप लगाए गए हैं। ये पंप मानसून में जल निकासी प्रक्रिया को तेज और प्रभावी बनाने में मदद करेंगे।
कुशक नाला और रिंग रोड नाला की डी-सिल्टिंग परियोजना भी जल्द शुरू की जाएगी। इसमें रोबोटिक सिल्ट लेवल अकॉस्टिक प्रोफाइलिंग टेक्नोलॉजी का उपयोग कर लगभग 13.10 करोड़ रुपये की लागत से नालों की सफाई एवं स्थायी समाधान सुनिश्चित किया जाएगा। इससे INA राउंडअबाउट, वेस्ट किदवई नगर, सरोजिनी नगर और अन्य क्षेत्रों में जलभराव की समस्या से नागरिकों को राहत मिलेगी।
साथ ही, NDMC ने 79 सड़कों के आधुनिक पुनरुत्थान (Resurfacing) की योजना बनाई है, जो संसद भवन, सचिवालय, प्रधानमंत्री आवास और राष्ट्रपति भवन जैसे राष्ट्रीय महत्व के क्षेत्रों से जुड़ी हैं। CSIR-CRRI की तकनीकी मार्गदर्शन के तहत यह परियोजना अक्टूबर 2026 तक पूरी की जाएगी। Hot Mix, Cold Mix, Stone Mastic Asphalt, Micro-Surfacing और Thermoplastic Road Marking जैसी आधुनिक तकनीकें सड़क सुरक्षा और गुणवत्ता को बेहतर बनाएंगी।
शिक्षा क्षेत्र में भी NDMC ने नवयुग स्कूलों की कक्षाओं में IFP आधारित स्मार्ट क्लासरूम की स्थापना का निर्णय लिया है। 346 कक्षाओं में डिजिटल कंटेंट, CCTV कैमरा और IT असिस्टेंट की सुविधा के साथ यह परियोजना 7.83 करोड़ रुपये की लागत से लागू की जाएगी।
श्री चहल ने कहा कि ये सभी परियोजनाएँ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकसित भारत @2047 के विज़न के अनुरूप हैं और नई दिल्ली को आधुनिक, सुरक्षित और नागरिक-केंद्रित शहर बनाने में महत्वपूर्ण योगदान देंगी।


